समान्तर रेखाएं ...

बर्षों से चल रहे हैं साथ साथ
एक दिशा में, दो मुसाफिर की तरह
जुड़े है आपस में तयशुदा दूरी पर
दूर तक जाती रेलपथ की तरह
दोनों के बीच एक फासला है
समांतर रेखाओं की तरह…
हमारी दिशा एक है
हमारा विषय एक है
हमारी मंजिल एक है
हम जुड़े है एक अर्से से
नदी के दो किनारों की तरह
भावनाएं उमड़ती है दोनों की
बहती हुयी दरिया की तरह
हमारे रिश्तों की निशां है
समांतर रेखा की तरह …
समांतर रेखा की तरह …
इंतजार है किसी संगम का
जो धाराओं को मोड़ दे
फासले की शर्त को
शून्यता से जोड़ दे
सफ़र का समापन हो
किसी उत्सव की तरह
उसके बाद कोई सफ़र न हो
समांतर रेखाओं की तरह …
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